वाराणसी में महापौर अशोक कुमार तिवारी ने नगर निगम सदन की बैठक में दीवाली तक रात में सफाई कराने का आदेश दिया। पार्षदों ने सफाई व्यवस्था को लेकर नाराजगी जताई। शहर में मच्छरों के प्रकोप और जल संकट पर भी…
वाराणसी। वरिष्ठ संवाददाता दीवाली तक शहर भर में रात में भी सफाई कराई जाएगी। मंगलवार को नगर निगम सदन की पुनरीक्षित बैठक में पार्षदों की मांग पर महापौर अशोक कुमार तिवारी ने कूड़ा सफाई के संबंध में निगम प्रशासन को निर्देश दिया। टाउनहॉल के सभागार में हुई मिनी सदन की बैठक में नए वार्डों के पार्षदों ने सफाई व्यवस्था बेहतर न होने पर नाराजगी जताई। वहीं दीवाली पर कचरे की मात्रा दोगुनी से ज्यादा होने के चलते मुख्य मार्गों के साथ गली, मोहल्लों में भी रात में सफाई कराने का निर्देश दिया गया।
महापौर अशोक कुमार तिवारी ने कहा कि दीवाली, छठ और देव दीपावली को देखते हुए नगर निगम प्रशासन विशेष सतर्कता बरते। काफी संख्या में स्ट्रीट लाइट बंद होने, पेयजल किल्लत पर भी मिनी सदन की बैठक में नाराजगी जताई गई।
बैठक शुरू होने पर सर्वप्रथम उपसभापति नरसिंह दास ने वित्तीय वर्ष 2024- 25 का पुनरीक्षित बजट प्रस्तुत किया। चार करोड़ रुपये (डीजल-पेट्रोल की मद में) की कटौती करते हुए 1132 करोड़ रुपये का बजट पास किया गया। वहीं महज पौन घंटे की चर्चा के बाद जलकल विभाग का 295 करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत कर दिया गया। इस तरह मिनी सदन ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के पुनरीक्षित बजट के लिए 1427 करोड़ रुपये का फंड स्वीकृत किया है।
मिनी सदन में पार्षदों-अनंतराज गुप्ता, रोहित गुप्ता, सुरेश पटेल गुड्डू, बृजेशचंद्र श्रीवास्तव, अशोक मौर्य, हारुन अंसारी, कुसुम पटेल ने कहा कि मच्छरों के प्रकोप के बाद भी कई इलाकों में हफ्तों से फॉगिंग नहीं करा जा रही है।
यूजर चार्ज के औचित्य पर सवाल
मिनी सदन की बैठक में आदि विश्वेश्वर वार्ड के पार्षद इंद्रेश कुमार सिंह ने सवाल उठाया कि जब शहरवासियों से सीवरकर, जलकर, गृहकर लिया जा रहा है तो फिर कूड़ा उठान के लिए अलग से यूजर चार्ज का क्या औचित्य है। यूजर चार्ज के नाम पर निजी कंपनी मनमानी कर रही है और भ्रष्टाचार को बढ़ावा मिल रहा है। उन्होंने कहा कि वाराणसी वेस्ट सॉल्यूशंस को अब तक करोड़ों रुपये का भुगतान किया गया है लेकिन कभी यह नहीं जांचा गया कि वह इसके बदले क्या सेवाएं दे रहा है। उन्होंने बताया कि मेरे वार्ड में करीब 3500 मकान हैं। उनसे निकलने वाले कूड़ा के उठान के लिए कंपनी ने 14 कर्मचारी लगाए हैं। महज 15-20 प्रतिशत भवनों से कूड़ा उठान होता है जबकि शुल्क 75-80 प्रतिशत भवनों से वसूला जाता है। इंद्रेश कुमार सिंह के सवाल को अन्य पार्षदों ने सही ठहराया और मेज थपथपा कर समर्थन दिया।
छमुहानी, दुर्गाघाट में सीवर समस्या पर रोष
कांग्रेस पार्षद दल के नेता गुलशन अंसारी ने कहा कि छमुहानी में सीवर समस्या गंभीर है। आए दिन सड़क पर सीवेज बहता है जिससे आवागमन मुश्किल हो गया है। शबाना अंसारी ने सरैया डॉट पुल के नीचे जलभराव की समस्या के तत्काल समाधान की मांग की। पार्षद कनकलता मिश्रा ने ब्रह्मचारिणी मंदिर के पास सीवर ओवरफ्लो के कारण लोगों की दिक्कतों का मुद्दा उठाया। उन्होंने कहा कि जलकल शाही नाले की सफाई में लापरवाही बरत रहा है। इस पर महापौर ने जलकल के सचिव ओपी सिंह से 15 दिन में सफाई कराने का निर्देश दिया।
डीजल-पेट्रोल पर पार्षदों ने घेरा
पार्षद सुरेश चौरसिया, मदन मोहन दुबे ने आपत्ति जताई कि कार्यकारिणी समिति के इनकार के बाद भी डीजल-पेट्रोल पर बजट बढ़ा दिया गया। अधिकारियों से जानना चाहा कि यह किसकी अनुमति से हुआ। उन्होंने कहा कि जब खर्च 8 करोड़ से अधिक न बढ़ाने को कहा गया था तो इसे 14 करोड़ रुपए प्रस्तावित क्यों किया गया। महापौर अशोक कुमार तिवारी ने भी इस पर नाराजगी जताई। तब नगर आयुक्त अक्षत वर्मा ने तर्क दिया कि कई जरूरी कामों के चलते डीजल का खर्च बढ़ा है। उनके आग्रह पर सदन ने डीजल मद में 10 करोड़ रुपये खर्च की स्वीकृति दे दी।
सुरेश चौरसिया ने विश्वेश्वरगंज कूड़ाघर की गंदगी का हवाला देते कहा कि जब शहर के बीच के कूड़ाघर का ये हाल है तो डीजल-पेट्रोल पर खर्च बढ़ाने पर अफसर क्यों जोर दे रहे हैं?
नये वार्डों में गंदगी पर रोष
शहर में शामिल नये क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था अच्छी न होने पर पार्षद-अनिल सोनकर, गीता सिंह, गोविंद प्रसाद सिंह ने रोष जताया।
पूर्व पार्षद को दी श्रद्धांजलि
कांग्रेस के पूर्व पार्षद शंभूनाथ बाटुल के निधन पर मिनी सदन ने श्रद्धांजलि दी। दो मिनट का मौन रखकर पार्षदों, महापौर और अधिकारियों ने संवेदना व्यक्त की। चंद्रनाथ मुखर्जी और गुलशन अंसारी ने शोक प्रस्ताव रखा। श्याम आसरे मौर्य, राजेश यादव चल्लू, अमरदेव यादव, नरसिंह दास ने कहा कि बंगालीटोला से तीन बार पार्षद रहे शंभूनाथ बाटुल (बाटुल दादा) के निधन से एक जुझारू जनप्रतिनिधि हमारे बीच में नहीं रहे। उन्होंने जनता के मुद्दों पर हमेशा संघर्ष किया। उनको नगर निगम अधिनियम की अच्छी जानकारी थी।