Last Updated:
Moradabad Latest News : कारतूस आमतौर पर आर्डिनेंस फैक्ट्री में ही बनाए जाते हैं. अवैध हथियारों की फैक्ट्री पहले भी पकड़ी जाती रही है, लेकिन कई साल के बाद देश में कारतूस बनाने की फैक्ट्री पकड़ में आई है.
फैक्ट्री के भीतर का नजारा.25 साल से इस अवैध धंधे में लिप्त
इलियास की निशानदेही पर मुरादाबाद में चल रही एक गुप्त फैक्ट्री का पता चला. जब टीम ने स्थानीय पुलिस की मदद से छापा मारा तो वहां से लेथ मशीन, ग्राइंडिंग मशीन, 257 खाली कारतूस, 354 बुलेट लीड्स, 350 खाली शेल, गन पाउडर और पीतल की रॉड बरामद हुए. पुलिस का कहना है कि बरामद कच्चे माल से लगभग 1000 कारतूस तैयार किए जा सकते थे. जांच में सामने आया कि इलियास पिछले 25 साल से इस अवैध धंधे में लिप्त है और उस पर पहले भी गैंगस्टर एक्ट सहित कई मामले दर्ज हैं. स्पेशल सेल अब इस नेटवर्क के अन्य सदस्यों की तलाश कर रही है और यह जानने की कोशिश कर रही है कि अब तक दिल्ली-एनसीआर में कितनी बड़ी मात्रा में हथियार और कारतूस सप्लाई किए गए हैं.
पीतल के बर्तन बनाने का पुश्तैनी काम
मुख्य आरोपी का पीतल के बर्तन बनाने का पुश्तैनी काम है. उसने हथियार बनाना भी सीखा. कहा जा रहा है कि भारत मे कई साल के बाद कोई कारतूस बनाने की फैक्ट्री पकड़ी गई है. दरअसल कारतूस आमतौर पर आर्डिनेंस फैक्ट्री में ही बनाए जाते हैं. अवैध हथियारों की फैक्ट्री पकड़ी जाती रही है, लेकिन कई साल के बाद कारतूस बनाने की फैक्ट्री पकड़ी गई है. मुख्य आरोपी ने अवैध कारतूस की कमाई से मुरादाबाद में करीब 250 गज में पांच मंजिला करोड़ों का घर बनाया हुआ है. मुख्य आरोपी इलयास पिछले 25 साल में अब तक कई लाख कारतूस बना चुका है. इन कारतूसों की सप्लाई दिल्ली-एनसीआर और दूसरे राज्यों में बदमाशों और गैंगस्टर को किया जा रहा था.

Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu…और पढ़ें
Priyanshu has more than 10 years of experience in journalism. Before News 18 (Network 18 Group), he had worked with Rajsthan Patrika and Amar Ujala. He has Studied Journalism from Indian Institute of Mass Commu… और पढ़ें



