संवाददाता – रविन्द्र सिंह।
हनुमान जी ने लाया संजीवनी बूटी, कुंभकरण का प्रभु श्री राम ने किया वध।
मीरजापुर। पड़री थाना क्षेत्र के पैड़ापुर चौकी अंतर्गत धरमदेवां गांव में शनिवार को मंच के माध्यम से बड़ा ही मनोरम व मनोहारी दृश्य रामलीला में कलाकारों ने प्रस्तुत किया। जिसे देखकर दूर दूर से आए हजारों की संख्या में उपस्थित दर्शक मंत्र मुग्ध हो गए। रामलीला के आरंभ में प्रभु श्री राम लंका पर चढ़ाई के लिए सभी सेनाओं को अलग-अलग दिशा में भेज दिए। यह समाचार जब रावण को पता चला तो अपने महाभटों आदि निशाचरों को भेजता है। सभी बंदरों से भयभीत होकर रावण के पास पहुंचते हैं। इसके बाद रावण अपने लड़के मेघनाथ से युद्ध करने के लिए कहा। जिस पर मेघनाथ ने अपनी पत्नी सुलोचना से मिलकर राम दरबार में जाकर सबको युद्ध करने के लिए ललकारते हैं। जिसके बाद लक्ष्मण ने राम से आज्ञा लेकर मेघनाथ से युद्ध करने के लिए गए। जहां मेघनाथ लक्ष्मण का काफी देर तक संवाद हुआ। इसके बाद मेघनाथ ने ब्रह्मशक्ति बाण मारकर लक्ष्मण को मूर्छित कर दिए। यह समाचार पाकर राम काफी दुखी हुए। तभी हनुमान जी लक्ष्मण जी को लेकर राम जी के पास आ गए। लक्ष्मण जी की हालत देखकर राम जी करुण विलाप करने लगे। जिसे देख दर्शकों की आंखें नम हो गई। तब हनुमान जी लंका जाकर वैद्यजी को उनके मकान के साथ उठा लाते हैं। वैद्य जी ने कहा कि द्रोणागिरी पर्वत पर संजीवनी बूटी है। यदि कोई रात ही में इसे ला देगा, तभी लखन जी बच पाएंगे। इसके बाद संजीवनी बूटी लाने के लिए हनुमान जी गए। उन्हें बूटी पर्वत पर नहीं समझ में आया तो वह पूरा पहाड़ ही उठा कर लेकर जा रहे थे। जिसे भरत जी ने देखकर अपने बाणों से घायल कर दिए। इसके बाद जब भरत तथा हनुमान जी का वार्तालाप होता है। तब भरत विलाप करने लगते हैं तथा अपने बाण पर हनुमान जी को बैठकर श्रीराम प्रभु जी के पास जाने के लिए कहते हैं तो हनुमान जी ने कहा कि मैं शीघ्र ही पहुंच जाऊंगा। आप मुझे आज्ञा दीजिए। आज्ञा लेकर हनुमान जी संजीवनी बूटी लेकर रामादल में पहुंचते हैं। इसके बाद वैद्य जी ने लक्ष्मण जी को जीवित कर दिया गया। इस दृश्य को देख दर्शकों के तालियों की गड़गड़ाहट से पूरा पंडाल गूंजायमान हो उठा। इस खबर को रावण पाया तो वह अपने भाई कुंभकरण के पास गया। जहां कुंभकरण तथा रावण की वार्ता के बाद कुंभकरण राम से लड़ाई लड़ने के लिए चल देता है। जिसका प्रभु श्री रामचंद्र जी के द्वारा वध कर दिया गया। इसी पर लीला का समापन हुआ तथा अगले दिन रविवार को मेघनाथ वध, अहिरावण वध तथा रावण वध का मंचन किया जाएगा। यह जानकारी रामलीला समिति के अध्यक्ष श्यामकांत द्विवेदी ने दिया। जहां रामलीला के डायरेक्टर ओम प्रकाश दूबे मौजूद रहे। वहीं अपनी मुखारबिंदु से व्यास गद्दी पर बैठे दूरदर्शन कलाकार मोहम्मद इस्लाम तथा उनका सह दे रहे नाल वादक विजय कुमार विश्वकर्मा व प्यारेलाल ने अपने कलाओं की जादू बिखेरा। वहीं रामलीला में डांसर रमेश उर्फ बिजुली रानी ने बीच-बीच में अपने नृत्य कला से दर्शकों का मन मोह लिया। रामलीला के कलाकारों में हेमंत मिश्रा, पीतांबर मिश्रा, रामानंद मिश्रा, विभव उर्फ कान्हा द्विवेदी, विनय मिश्रा, संतोष भारती, मोहम्मद दिल्लूलाल, चुन्नीलाल आदि ने रामलीला का मंचन किया। वहीं सोमवार को भारत मिलाप तथा मेले का आयोजन किया जाएगा, यह जानकारी रामलीला समिति के अध्यक्ष श्यामाकांत द्विवेदी ने दिया। वहीं सुरक्षा के मद्देनजर स्थानीय पुलिस मौजूद रही।